पीसीएफ गोदाम बंद होने से किसानों को इंतजार के बाद लौटना पड़ा

गोदाम नहीं खुला और इंतजार में भी काफी समय खराब हो गया है


प्राइवेट में डीएपी 1250 रुपये में है, जबकि पीसीएफ गोदाम पर 1210 रुपये प्रति बैग है


पिसावां (सीतापुर) । कस्बे में स्थित पीसीएफ गोदाम बंद होने से किसानों को इंतजार के बाद लौटना पड़ा। दोपहर एक बजे तक गोदाम प्रभारी के आने और गोदाम खुलने के इंतजार में कई किसान काफी देर तक खड़े रहे। गोदाम नहीं खुलने पर इन किसानों में कई ने तो 1250 रुपये प्रति बोरी की दर से डीएपी खाद निजी दुकानों पर खरीद ली और कुछ बिना खाद लिए ही घर लौट गए। महमदापुर के कमलेश, रौना के श्रीराम, बक्सापुर के कासिम, राम बक्श व राम गुलाम ने बताया वे गेहूं की बोआई करना चाह रहे हैं। खेत तैयार है, बीज भी मौजूद है पर डीएपी व यूरिया खाद के अभाव में गेहूं की बोआई नहीं कर पा रहे हैं। पीसीएफ गोदाम पर मौजूद बराहमऊ के खालिद खां, दौलतियापुर के प्रेम कुमार और अल्लीपुर के ओम प्रकाश ने बताया कि गोदाम नहीं खुला और इंतजार में भी काफी समय खराब हो गया है। उन्होंने बताया, इस दौरान खाद की जरूरत है। प्राइवेट में डीएपी 1250 रुपये में है, जबकि पीसीएफ गोदाम पर 1210 रुपये प्रति बैग है। पिसावां में पीसीएफ गोदाम प्रभारी रामनरेश दीक्षित हैं। इन्हें हमने आज (शुक्रवार) जिले पर बुलाया था। स्टॉफ के अभाव में इन्हें धान खरीद के लिए एक क्रय केंद्र का प्रभारी दे रखा है। उसी के संबंध में वार्ता करनी थी।